जय श्री राम का नारा लगवाने वाले मोदी, मंदिर निर्माण पर शांत क्यों है – आचार्य सत्येन्द्र दास

हरिशंकर सोनी

अयोध्या : राम मंदिर मुद्दे पर भाजपा अब चारो तरफ से घिरती दिखाई दे रही है. तीन तलाक मुद्दे और sc/st एक्ट पर संसद में कानों बना कर यह रास्ता खुद भाजपा ने अपने उन कार्यकर्ताओ को दिखा दिया है जिस पर भाजपा के वह कार्यकर्ता जो केवल राम मंदिर के नाम पर भाजपा के साथ थे अब भाजपा पर दबाव बनाने लगे है. इधर भाजपा अपने जनाधार के साथ खुद को सेक्युलर साबित करने में जी जान लगाये हुवे है. अपने एजेंडे में राम मंदिर निर्माण की बात लिख कर भाजपा आज खुद फंसती दिखाई दे रही है. मामला अब कुछ इस तरह है कि पांच राज्यों में विधान सभा चुनावों की घोषणा हो चुकी है. दिसंबर तक तो भाजपा किसी तरह से अब संसद में कानून बनाने की कोशिश नहीं कर सकती है. 11 दिसंबर को चुनाव परिणाम घोषित होने के बाद फिर इस मामले में भाजपा के पास बहुत समय नही बचेगा क्योकि 2019 सर पर आ चूका होगा. इधर संत समाज अब राम मंदिर निर्माण के लिये भाजपा को और समय देने के मूड में नहीं दिखाई दे रहा है

इसी बीच अयोध्या में राम मंदिर के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येन्द्र दास ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी अपनी रैलियों में ‘जय श्रीराम’ के नारे तो लगवाते हैं, लेकिन कभी राम मंदिर निर्माण की बात नहीं करते। उन्होंने कहा- भाजपा के एजेंडे में मंदिर निर्माण का मुद्दा है, इसलिए  जनता यह चाहती है कि संसद में कानून बनाकर मंदिर का निर्माण कराया जाए।

कानून नहीं बना तो भाजपा खत्म – सत्येन्द्र दास

सत्येन्द्र दास ने कहा, “भाजपा अगर लोकसभा चुनाव 2019 के पहले मंदिर निर्माण के लिए संसद में कानून बना कर अध्यादेश नहीं लाती, तो पार्टी पूरी तरह से खत्म हो जाएगी। पिछली सरकारों ने अन्य मुद्दों पर तो काम किया, लेकिन जनता का इस मुद्दे पर भाजपा पर विश्वास बना है। उन्होंने कहा- एससी-एसटी मुद्दे पर सरकार सुप्रीम कोर्ट के आदेश को बदलने के लिए तो कानून लाती है। लेकिन जब देश में सभासद से लेकर राष्ट्रपति पद तक भाजपा के लोग हैं, ऐसे में राम मंदिर पर कानून क्यों नहीं बनता।

सत्येन्द्र दास ने कहा- अयोध्या विवाद का मामला सर्वोच्च अदालत में है। कोर्ट अपना फैसला करेगी। देश की जनता उसको मानने के लिए तैयार भी है। विश्व हिंदू परिषद के नेता अशोक सिंघल जिंदा होते तो भाजपा को सत्ता में आते ही राम मंदिर का निर्माण हो जाता।

मंदिर निर्माण नहीं चाहते मोदी और योगी – महंत परमहंस

इससे पहले शनिवार को रामजन्मभूमि पर मंदिर निर्माण के लिए एक अक्टूबर से आमरण अनशन पर बैठे महंत परमहंस दास ने कहा था कि मोदी और योगी सरकार नहीं चाहती कि यहां मंदिर बने। राममंदिर निर्माण के लिए संसद में कानून बनाने की मांग को लेकर विहिप के नेतृत्व में संतों और धर्माचारों के एक प्रतिनिधिमंडल ने गुरुवार को राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से मुलाकात की थी। साथ ही विहिप ने देशभर में इस मुद्दे को लेकर अभियान चलाने की बात भी कही थी।

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