बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ योजना के तहत होगा बृहद कार्यक्रम

-महीने दिन से उपर चलेगा अभियान, जिलाधिकारी ने तय की रूपरेखा

 

अंजनी रॉय

-बेटियों, महिलाओं संग अभिभावकों को भी जागरूक करने होगा विशेष जोर

बलियाः बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओ योजना के अन्तर्गत बृहद कार्यक्रम कराने की तैयारी है। इसकी बागडोर जिलाधिकारी भवानी सिंह खंगारौत ने स्वयं अपने हाथों में ले ली है। बेटियों को बचाने व पढ़ाने के प्रति जागरूकता अभियान पर उनका विशेष जोर है। इसके लिए नुक्कड़-नाटक, प्रदर्शनी, वॉल पेंटिंग गोष्ठी व अन्य जागरूकता कार्यक्रम के जरिए लोगों को बेटी से जुड़ी भ्रान्तियों को खत्म करना है। अलग—अलग कार्यक्रमों के लिए अधिकारियों को नोडल बनाया गया है।
शुक्रवार को उन्होंने कलेक्ट्रेट परिसर से एक हस्ताक्षर अभियान की शुरूआत भी की। इसमें कई अधिकारी व छात्राओं ने भी प्रतिभाग किया। छात्राओं ने भी बारी-बारी से बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ के सम्बन्धित स्लोगन लिखकर और हस्ताक्षर कर अभियान को गति दी। इससे पहले जीजीआईसी की बालिकाओं ने रैली निकालकर गुंजायमान नारों के साथ रैली निकाली। इस अवसर पर जिला प्रोबेशन अधिकारी केके राय, समाज कल्याण अधिकारी तिलकधारी, अतुल तिवारी आदि मौजूद थे।

-जागरूकता कार्यक्रमों की बनाई रूपरेखा

-जिलाधिकारी भवानी सिंह खंगारौत ने अपने कैम्प कार्यालय पर बुधवार को बेटी बचाओ, बेटी पढ़ाओं योजना से जुड़े अधिकारियों के साथ बैठक कर जागरूकता कार्यक्रमों की रूपरेखा तैयार करवाई। उन्होंने साफ कहा, कार्यक्रम ऐसे होने चाहिए जिससे सिर्फ बेटियां और महिलाएं ही नहीं, बल्कि उनके अभिभावकों मेें भी जागरूकता पैदा हो। इसमें महिला कल्याण विभाग के अलावा स्वास्थ्य, आंगनबाड़ी विभाग, शिक्षा विभाग की भी भूमिका की याद दिलाई। कहा कि सबकी महती भूमिका से ही बेटियों को बचाने व पढ़ाने के प्रति जागरूकता लाई जा सकती है।
जिलाधिकारी ने कहा कि आंगनबाड़ी केंद्रों व सभी प्राथमिक विद्यालयों पर बेटी बचाओ बेटी पढ़ाओ के स्लोगन व महिला हेल्पलाईन 181 का अंकन कराए जाने की जिम्मेदारी बीएसए व जिला कार्यक्रम अधिकारी को दिया। सभी सरकारी व प्राईवेट वाहनों पर जागरूकता सम्बन्धी स्टीकर लगवाने की जिम्मेदारी ​परिवहन विभाग को सौंपी। सभी सरकारी कार्यालयों व कुछ खास सार्वजनिक स्थलों पर फ्लैक्स लगेगा।

सर्वोच्च अंक पाने वाली टॉप टेन बालिकाएं होंगी सम्मानित

— योजनान्तर्गत आगामी 26 जनवरी को बापू भवन में बड़ी गोष्ठी होगी। इसमें बेटियों को आत्मरक्षा प्रशिक्षण व जागरूकता कार्यक्रम के जरिए उनका मनोबल बढ़ाए जाने पर जोर होगा। इसी कार्यक्रम में 10वीं व 12वीं की यूपी बोर्ड परीक्षा में सर्वोच्च अंक प्राप्त करने वाली टॉप टेन बालिकाओं को सम्मानित करने के साथ उनके अभिभावकों को गौरव पत्र दिया जाएगा।

कार्यालयों में बैठेंगी बेटियां, देखेंगी सरकारी कामकाज की प्रणाली

— जिलाधिकारी ने विशेष जोर देकर कहा, डीआईओएस व बीएसए पायलट प्रोजेक्ट के तहत कुछ बच्चियों का चयन करेंगे। उनको न्यायालयों, प्रशासनिक व पुलिस कार्यालय, विकास विभाग, तहसील, थाना आदि में भ्रमण कराकर सरकारी कामकाज की प्रणाली से अवगत कराया जाएगा। इन कार्यालयों में भ्रमण से बालिकाओं को आमजन की समस्याओं को उनके निस्तारण के तरीकों की समझ आएगी।

बेटी के जन्म पर मिलेगा गौरव सम्मान व मिठाई

– जिलाधिकारी ने बताया कि योजना के तहत महिला कल्याण विभाग की ओर से एक कार्यक्रम निर्धारित है, जिसके अनुसार 24 जनवरी से एक हप्ते तक महिला चिकित्सालय में जो भी प्रसव होगा, बच्ची पैदा होने पर उसके अभिभावक को गौरव सम्मान से नवाजा जाएगा। साथ ही मिठाई भी उपहार स्वरूप दी जाएगी। महिला कल्याण विभाग की यह पहल अपने आप में काफी कारगर मानी जा रही है।

मुकाम पर पहुंची जिले की बेटियां बनेंगी रोल माॅडल

– जिलाधिकारी का विशेष जोर है कि कार्यक्रम में जिले की उन बेटियों को भी आमंत्रित किया जाए, जिन्होंने अपने क्षेत्र में मुकाम हासिल किया है। खासकर वह बेटियां रोल माॅडल का काम कर सकती है, जिन्होंने विपरीत परिस्थितियों में उत्कृष्ट कार्य किया है। योजना से सम्बन्धित एक बड़ी गोष्ठी होगी, जिसमें इन बेटियों को बुलाया जाएगा। जिलाधिकारी के अनुसार, वह बेटियां अगर आने को तैयार हुईं तो उनको आने जाने का किराया भी वहन करने को भी विभाग तैयार होगा।

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