वाराणसी – नई सड़क की दो दुकानों के ताले तोड़ कर हुई चोरी, उठा सवाल कि जब टूट रहे थे दुकानों के ताले तो क्या सो रही थी पुलिस

तारिक आज़मी

वाराणसी। शहर के दशश्वमेघ थाना क्षेत्र के नई सड़क लंगड़े हाफ़िज़ मस्जिद के कपडा मार्किट में एक सर्राफा दूकान और एक कपडे की दूकान का ताला तोड़ कर चोरो ने लम्बे माल पर हाथ साफ़ कर दिया। इस चोरी के घटना की जानकारी लोगो को शाम को हुई जब किसी की नज़र दुकानों के टूटे ताले पर पड़ी। इन दुकानों में खलील सराफ की दूकान मुख्य सड़क मार्ग से सटी हुई है, जबकि दूसरी लेडीज़ कपड़ो की दूकान नई सड़क दालमंडी मार्ग पर लबे रोड है।

दोनों दुकानों का ताला अन्दर कटरे वाले शटर का टुटा हुआ था। इस दौरान सर्राफा कारोबारी की दूकान से उसकी तिजोरी काटने का भी प्रयास हुआ जो शायद सफल नही हो सका। सर्राफा कारोबारी के दूकान से उसके शो केस में लगे सभी चांदी के जेवरो पर चोरो ने हाथ साफ़ किया है। वही कपडे की दूकान से नगदी सहित लगभग एक लाख से अधिक का कपडा चोरी हुआ है। हौसला बुलंद चोरो ने कटरे में कैमरा तोड़ दिया। इस दौरान दोनों दुकानों की सीसीटीवी का डीवीआर भी उठा ले गये।

पुलिस अनुमान लगा रही है कि दुकानों के ताले और शटर गैस कटर से काटे गए है। जबकि घटना कब की है इसकी किसी को जानकारी नही है। सिर्फ अनुमान के तौर पर यह समझा जा रहा है कि देर रात अथवा सहरी के बाद चोरो ने इस घटना को अंजाम दिया होगा। सबसे अधिक अचम्भे की बात तो ये है कि जिस जगह चोरी हुई है उसके एक दूकान के बाद ही पुलिस की हर समय पिकेड लगी रहती है। दोपहर के समय धुप अधिक होने पर पुलिस कर्मी उस दूकान एक ही चबूतरे पर जाकर बैठ जाते है जिस कपडे की दूकान में चोरी हुई है। पुलिस मामले में जाँच की बात कह रही है। समाचार लिखे जाने तक दोनों में से किसी दुकानदार ने लिखित तहरीर नहीं दिया था। सुबह तहरीर देने की जानकारी प्राप्त हो रही है।

इस चोरी की घटना से क्षेत्र में जमकर चर्चाओं का बाज़ार गर्म है। सियासत के पैरोकार सियासी तौर पर लेफ्ट राईट करते दिखाई दिए। हमसे बात करते हुवे चौकी प्रभारी कपडा मार्किट एसआई मुरलीधर ने बताया कि घटना की जाँच किया जा रहा है। जल्द ही घटना का सफल खुलासा किया जायेगा। हमारे सवाल कि पुलिस पिकेड के के बगल से ये घटना होना क्या पुलिस की कार्यशैली पर सवाल नही उठाता है को दरोगा जी वैसे तो जांच के नाम पर टाल गए मगर हकीकत में कार्यशैली पर बड़ा सवाल है।

क्या इन सवालो का मिल पायेगा कभी जवाब

पुलिस पिकेट के ठीक बगल में इस दुस्साहसिक घटना को अंजाम देने वाले चोर क्या इतने बेफिक्र हो सकते है कि दो दुकानों का ताला काट डाला, एक दूकान की तिजोरी काटने की कोशिश हुई। दोनों डीवीआर उठा ले गए। और तो और शटर को ताले काट कर ऊपर उठाया है तथा कैमरा भी एक तोडा है। लॉक डाउन के कारण सड़क इतनी सन्नाटी है कि घर में रोने वाले बच्चे की आवाज़ भी सड़क तक आ जाती है। फिर आखिर कैसे इतनी बड़ी घटना की कोई जानकारी पिकेट पर बैठे पुलिस के जवानो को नही हुई।

चलिये मान भी लेते है कि गैस कटर से ताले काटे गये। अगर ये रात के समय हुआ तो गैस कटर से निकलने वाली आग की रोशनी कैसे पुलिस को नहीं दिखाई दी, जबकि सराफा कारोबारी के दूकान के आगे मुख्य मार्ग पर केवल चैनल गेट है। रात के अँधेरे में रोशनी ही शंका पैदा कर सकती है। और अगर दिन के उजाले में हुआ है तो फिर चोरो के हिम्मत की दाद देना होगा कि दिन दहाड़े पुलिस के ठीक बगल से चोरी करके निकल गए और पुलिस को पता भी नहीं चला।

दूसरा सवाल दो दुकानों के शटर के ताले कटे, उसके बाद शटर उठाया गया। दोनों शटर काफी पुराने है और जोर की आवाज़ करते है। क्या पिकेट पर बैठी पुलिस उस समय जोर की आवाज़ में गाने सुन रही थी जो उसको शटर उठने की आवाज़ नही लगी ? ऐसा भी नहीं कि आम दिन है पुलिस सोच रही होगी कि किसी दुकानदार ने अपनी दूकान खोली होगी। पूरी मार्किट में सिर्फ ऐसी दुकाने है जिनके खोलने पर पाबन्दी लगी हुई है। फिर पुलिस ने आखिर क्यों नही शटर उठने की आवाज़ नही सुनी ? और अगर सुनी तो उस तरफ देखा क्यों नहीं कि आखिर इस लॉक डाउन में किसने दूकान खोली, या फिर दुकाने अक्सर खुल कर कारोबार हो रहा होगा। इस एक सवाल का जवाब तो बेहतर तरीके से स्थानीय चौकी इंचार्ज मुरलीधर ही दे सकते है।

चौकीदार को भेज दिया था पुलिस ने लॉक डाउन में वापस घर

इलाके के लोगो ने एक चौकीदार रख रखा था। गोरखपुर के निकटवर्ती इलाके का रहने वाला गोरखा चौकीदार काफी लम्बे समय से इस इलाके में चौकीदारी करता था। हर दुकानदार महीने का 20 रुपया से लेकर 50 रुपया तक उसको देता था। चौकीदार पूरी रात इलाके में टहलता था और किसी संदिग्ध के दिखाई देने पर वह पूछताछ करता था। दुकानदारों को उसके ऊपर विश्वास भी था।

क्षेत्रीय जनता का आरोप है कि लॉक डाउन की घोषणा होने के बाद स्थानीय चौकी इंचार्ज मुरलीधर ने उसको डांट कर भगा दिया था। वह गरीब चौकीदार पैदल ही अपने घर को चला गया। इस बात को लेकर चौकी इंचार्ज से लोगो को नाराज़गी भी है। क्षेत्रीय दुकानदारो का कहना था कि उसके रहने की वजह से दुकाने सुरक्षित रहती थी। आज तक कभी इस प्रकार की कोई घटना नही घटित हुई। मगर स्थानीय चौकी इंचार्ज ने उसको भगा दिया था।

सीसीटीवी फुटेज से करूँगा जल्द खुलासा – एसआई मुरलीधर

दरोगा मुरलीधर एक लम्बे समय से क्षेत्र में पोस्टेड है। इस दौरान कई मामलो में उन्होंने चर्चाये भी खूब हासिल किया। इस दौरान पटरी कारोबारियों को परेशान करने का बड़ा आरोप उनके ऊपर लगा और स्थानीय व्यापार मंडल ने उनके खिलाफ शिकायत भी दर्ज करवा दिया था। मगर जांच में क्या हुआ किसी को आज तक नही मालूम है। एक बार तो स्थानीय दुकानदारों ने बड़े आरोप लगाये थे और उनको क्षेत्र में रोक भी लिया था। मगर तत्कालीन थाना प्रभारी ने मामले को समझा बुझा कर सुलझा दिया।

क्षेत्र में उनको लेकर चर्चाये अक्सर बनी रहती है। एक बार फिर वो चर्चा के केंद्र में है जब इस प्रकार से दो दुकानों में दुस्साहसिक वारदात हुई है। उन्होंने कहा है कि सीसीटीवी फुटेज और अन्य सोर्सेस से जल्द ही घटना का खुलासा हो जायेगा। सर्राफा कारोबारी के दूकान से 8-10 हज़ार के माल की चोरी होने का बयान देने वाले दरोगा जी ने बताया है कि सभी सीसीटीवी फुटेज खंगाले जायेगे। अब देखना है कि साहब खुलासा कब तक करेगे।

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