शाहीन बनारसी
वाराणसी। हाथो में नंगी तलवार, तेज़ आवाज़ में डीजे पर विवादित गाना। अल्पसंख्यक इलाका मुख्य निशाने पर। ख़ास तौर पर भीड़ वाले स्थानों पर रुक कर नारे लगाना कि “काशी में रहना है तो राम राम कहना है”। इन सबके बावजूद भी वाराणसी प्रशासन के द्वारा ऐसे जुलूसो पर किसी तरीके से कोई रोक नही किया जाना आज शहर में चर्चा का विषय बना हुआ है। वही दूसरी तरफ सोशल मीडिया पर इस जुलूस की तस्वीरे और वीडियो भी जमकर वायरल हो रहा है।
जिस प्रकार से यह जुलूस निकला और जैसे इस जुलूस में विवादित नारे लगाये गए वह कभी भी माहोल ख़राब कर सकता है। इस सम्बन्ध में वाराणसी के बुनकर बिरादरान के 52नी सरदार मुख़्तार महतो के पुत्र फैसल महतो ने सोशल मीडिया पर पोस्ट कर वाराणसी प्रशासन से सवाल उठाया है कि इनके ऊपर कार्यवाही क्यों नही हुई। शहर के सोशल मीडिया पर वायरल होती तस्वीरे सवालों के साथ साथ शंकाओं को भी बल दे रही है।
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