गोपाल जी
मैसेज में लिखा है कि ‘मैं जीवन से निराश हूं और मानवता से विश्वास उठ गया है. मेरा सुसाइड नोट दिल्ली के होटल लीला पैलेस में नाईक के बैग में रूम नंबर 742 में रखा है. मैं आप सबसे प्यार करता हूं, कृपया मुझे माफ कर दें.’ हालांकि, वहां पुलिस के पहुंचने के बाद मुकेश कुमार पांडेय नहीं मिले. लेकिन, उनके शव को गाजियाबाद स्टेशन से एक किलोमीटर दूर कोटगांव के पास रेलवे ट्रैक से बरामद किया गया है. शव दो भागों में कटा है. अभी स्पष्ट नहीं है कि किस ट्रेन से कितने बजे कटा है. शुरुआती जांच में मामला आत्महत्या का प्रतीत हो रहा है, लेकिन शुक्रवार को पोस्टमार्टम किये जाने के बाद ही मौत के कारणों का खुलासा हो पायेगा. बिहार के डीजीपी पीके ठाकुर ने भी मुकेश पांडेय की मौत की पुष्टि कर दी है.
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