राबे हसन नदवी का हुआ इन्तेकाल, लम्बे वक्त से बीमार थे आल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के प्रमुख

तारिक़ आज़मी

डेस्क: ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के प्रमुख मौलाना राबे हसनी नदवी का आज बरोज़ जुमेरात इन्तेकाल हो गया है। उन्होंने 94 साल की उम्र में अपनी हयात के आखरी सांस लेकर इस दुनिया-ए-फानी से रुखसत कर दिया है। उनका इलाज रायबरेली में चल रहा था इसी सिलसिले में उनको लखनऊ लाया गया था।

मौलाना राबे हसनी नदवी का 1 अक्टूबर 1929 को उत्तर प्रदेश के रायबरेली के तकिया कलान में हुआ था। वह एक इस्लामिक स्कॉलर थे। नदवी दारुल उलूम नदवतुल उलमा के आठवें चासंलर थे। वह साल 2000 में इस पद पर काबिज हुए थे। इसके अलावा मौलाना राबे हसनी नदवी अलामी रबीता अदब-ए-इस्लामी, रियाद (केएसएए) के वाइस प्रेसिडेंट थे। नदवी 2002 में बने थे ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के अध्यक्ष बता दें कि नदवी को 2002 में ऑल इंडिया मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड का अध्यक्ष बनाया गया था। नदवी 1952 में नदवतुल उलमा लखनऊ में असिस्टेंट प्रोफेसर बने।

इसके बाद 1955 में वह अरबी विभाग के प्रमुख बने। वहीं, 1970 में अरबी डिपार्टमेंट के डीन बने। अरबी भाषा और साहित्य में उनके योगदान के लिए उन्हें भारतीय परिषद उत्तर प्रदेश की तरफ से पुरस्कार से नवाजा गया था। नदवी 2000 में बने नदवतुल उलमा के चांसलर इसके अलावा उन्हें एक राष्ट्रपति पुरस्कार से भी सम्मानित किया गया है। नदवी 1993 में नदवतुल उलमा के वाइस चांसलर बने थे। वहीं, अबुल हसन अली नदवी के निधन के बाद 2000 में उन्हें नदवतुल उलमा का चांसलर बनाया गया था।

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