इलाहाबाद विश्वविद्यालय वायरल ऑडियो प्रकरण – जाँच हुई पूरी, कुलपति को मिली क्लीनचिट

आफताब फारुकी

इलाहाबाद : इलाहाबाद विश्वविद्यालय के कुलपति प्रो. रतनलाल हांगलू इलाहाबाद उच्च न्यायालय के सेवानिवृत्त न्यायमूर्ति अरुण टंडन की जांच में बेदाग साबित हुए हैं। उनके खिलाफ कोई साक्ष्य नहीं मिले। न्यायमूर्ति टंडन ने नौ पन्ने की जांच रिपोर्ट कार्यवाहक कुलपति को शनिवार को सौंप दी थी। रविवार को विवि के गेस्ट हाउस में प्रेस वार्ता कर रिपोर्ट सार्वजनिक की गई। रिपोर्ट दो दिनों में केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्रालय भेजी जाएगी।

बीते पांच सितंबर को पूर्व छात्रनेता अविनाश दुबे ने कुलपति और दिल्ली की एक महिला के बीच कथित अश्लील वाट्सएप चैट का स्क्रीन शॉट वायरल किया था। इसके कुछ समय बाद एबीवीपी के राष्ट्रीय मंत्री रोहित मिश्र ने 33 मिनट का एक ऑडियो जारी किया, जिसमें कुलपति और महिला के बीच अंतरंग बातचीत के आरोप थे। सपा की राष्ट्रीय प्रवक्ता ऋचा सिंह ने भी कल्याणी यूनिवर्सिटी में एक स्टूडेंट की मां द्वारा लिखा गया चेतावनी पत्र जारी किया था।

यहां कैंपस में विरोध शुरू हुआ तो कुलपति छुट्टी पर चले गए। उसके बाद कार्यवाहक कुलपति ने केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्रालय के निर्देश पर सेवानिवृत्त न्यायमूर्ति टंडन की अध्यक्षता में जांच कमेटी बनाई थी। प्रेस वार्ता में विवि के पीआरओ डॉ. चितरंजन कुमार ने रिपोर्ट के विभिन्न पहलू को पत्रकारों के समक्ष रखा। बताया कि महिला ने खुद रिटायर्ड न्यायमूर्ति को एसएमएस करके अपनी बात रखी। उसने हलफनामा भी दिया है, जिसमें कुलपति प्रकरण में खुद की भूमिका से साफ इन्कार किया है। महिला ने कहा है कि कुछ लोगों ने उसे बदनाम करने की कोशिश की है।

हमारी निष्पक्ष पत्रकारिता को कॉर्पोरेट के दबाव से मुक्त रखने के लिए आप आर्थिक सहयोग यदि करना चाहते हैं तो यहां क्लिक करें


Welcome to the emerging digital Banaras First : Omni Chanel-E Commerce Sale पापा हैं तो होइए जायेगा..

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *