वाराणसी – 80 साल की महिला के संपत्ति पर इस सपा नेता द्वारा अवैध कब्ज़े के प्रयास का लगा आरोप, पुलिस ने हस्तक्षेप कर लगाया काम पर रोक, जाने क्या है विवाद

अनुराग पाण्डेय

वाराणसी। बुनकर बिरादरान वास्तव में गरीबी रेखा के नीचे जीवन यापन कर रही है। मगर इसी बिरादरान में कुछ ऐसे भी कुनबे है जो राजनैतिक संरक्षण के बाद बहुबली के तौर पर उभर कर सामने आये है। इस समुदाय के विवाद अक्सर सरदार, महतो की अगवानी में हल हो जाते है और थाने चौकी तक मामला जाता ही नही है। अन्यथा कई स्वयम्भू बाहुबलियों के चेहरे से नेता होने का नकाब ही हट जाता। दुनिया को अयां हो जाता कि बुनकर और समाजसेवक के नकाब के पीछे असल में कौन बाहुबली बन बैठा है।

ताज़ा मामला जैतपुरा थाना क्षेत्र के बकारियाकुंड का सामने आया है। प्रकरण में आरोप है कि एक विवादित संपत्ति जिस पर अदालत ने स्टे आर्डर भी दे रखा है पर एक बाहुबली सपा नेता के संरक्षण में अवैध कब्ज़ा किया जा रहा है। 80 वर्षीया महिला नुरुन्निसा की जमीन पर कब्ज़े की जानकारी होते ही मौके पर पहुची जैतपुरा पुलिस ने हो रहे निर्माण को रुकवा दिया है। वही प्रकरण से सम्बन्धित फोटो और वीडियो सोशल मीडिया पर जमकर वायरल हो रहे है। जिसमे एक बुनकर सपा नेता का नाम उभर कर सामने आ रहा है।

प्रकरण में मिली जानकारी के अनुसार अमीरुल्लाह और वलीउल्लाह दो सगे भाई थे। समय के साथ दोनों ही अब इस दुनिया में नहीं रहे। अमीरुल्लाह के इश्वर ने महज़ एक बेटी दिया जिसका नाम नुरुन्निसा है। नुरुन्निसा की उम्र मौजूदा हाल में 80 साल है। उनकी तीन बेटियां है। वही वलीउल्लाह के एक पुत्र अमनातुल्लाह है। रिश्ते में अमनातुल्लाह और नुरुन्निसा भाई बहन है। दोनों के मध्य पैतृक संपत्ति का विवाद काफी समय से चल रहा है। दोनों के मध्य इस पैतृक संपत्ति का आपसी बटवारा होना है जो प्रकरण अदालत में विचाराधीन है और मामले में सम्मनित अदालत ने स्टे दे रखा है।

इसी बीच अमनातुल्लाह ने अपने हिस्से की यह पैतृक संपत्ति बिना आपसी बटवारे के ही इश्तेयाक, अंसार, गुलज़ार और अबरार को कर दिया। इसके बाद दूसरी रजिस्ट्री के माध्यम से बकिया बची संपत्ति को स्टे आर्डर के बावजूद हाजी मुहम्मद उमर को कर दिया। पीडिता का आरोप है कि संपत्ति में कोई बटवारा हुवे बगैर विपक्षी उसके भाई अमानतुल्लाह ने सपत्ति को बेच डाला। जबकि बोर्ड आफ रेवन्यू में संपत्ति को लेकर वाद दाखिल है और अदालत ने इस संपत्ति पर स्टे दे रखा है।

ताज़ा प्रकरण में कल शुक्रवार को सुबह से ही इस संपत्ति पर कब्ज़ा करने के लिए काम लग गया। पीड़ित बुज़ुर्ग महिला अपनी तीन बेटियों के साथ भाग दौड़ करती रही और कथित दबंग उसकी ज़मीन पर कब्ज़ा करते रहे। इसी दरमियान मौके पर सुचना पाकर पहुची जैतपुरा पुलिस ने हो रहे निर्माण कार्य को तत्काल प्रभाव से रुकवा दिया और प्रकरण में अदालत का आदेश लाने के बाद ही निर्माण करने की सख्त हिदायत दिया गया।

बाहुबली के तौर पर उभरे बुनकर सपा नेता का आया नाम

प्रकरण में पीड़ित पक्ष ने ज़मीन पर कब्ज़े का आरोप बुनकर समाज से आने वाले एक सपा नेता अब्दुल्लाह पर लगाया है। पीड़ित पक्ष का आरोप है कि क्षेत्र के बाहुबली बुनकर नेता बनकर उभरे अब्दुल्लाह अंसारी के संरक्षण में हमारी ज़मीन पर कब्ज़ा किया जा रहा है। पीडिता के आरोपों को आधार माने तो अब्दुल्लाह जो खुद को अब्दुल्लाह डॉन कहलवाता है विवादित संपत्ति का कारोबार करता है।

कैसा और कब बना अब्दुल्लाह अंसारी “अब्दुल्लाह डॉन”

अब्दुल्लाह अंसारी का मुख्य कारोबार साडी हुआ करती थी। सम्भ्रांत बुनकर परिवार से सम्बन्धित अब्दुल्लाह अंसारी के अब्दुल्लाह डॉन बनने की कहानी भी बड़ी दिलचस्प बताई जाती है। मिठाई में मालपुआ का शौक़ीन अब्दुल्लाह का उठाना बैठना सपा नेताओं के साथ था। सूत्र बताते है कि इस दशक के शुरुआत में अब्दुल्लाह का एक झगडा क्षेत्र के पार्षद बेलाल से हो गया। कभी बेलाल भी बाहुबली हुआ करता था।

सूत्र बताते है कि सपा नेता बेलाल से झगड़े के दरमियान अब्दुल्लाह गुट के लोगो ने बेलाल की पिटाई कर दिया था। इसकी जानकारी जब दोशीपुरा क्षेत्र में हुई तो दोशिपुरा क्षेत्र के बेलाल पार्षद समर्थको ने भी बड़ी बाज़ार रोड पर आकर इसका विरोध जमकर किया। क्षेत्र में व्याप्त चर्चाओं के अनुसार उस दिन जमकर घमासान हुआ था। इस घमासान में अब्दुल्लाह गुट के लोगो ने पहले बेलाल की पिटाई किया था बाद में बेलाल समर्थको ने अब्दुल्लाह गुट की कुटाई कर दिया था। जिसके बाद अब्दुल्लाह पर पुलिस ने कार्यवाही भी किया था। गोपनीय सूत्र बताते है कि एक तत्कालीन सपा विधायक के करीबी बेलाल का साथ विधायक ने दिया था और अब्दुल्लाह को जेल जाना पड़ा था। इसके बाद से ही क्षेत्र में अब्दुल्लाह को अब्दुल्लाह डॉन के नाम से पुकारा और जाने लगा है।

क्या कहती है पुलिस

पुलिस ने प्रकरण में मौके पर निर्माण कार्य रुकवा दिया है। कुल 17 बिस्वा के इस सपत्ति पर कई खरीदार है। पुलिस ने मामले में जाँच और आख्या हेतु स्थानीय लेखपाल को पत्र भेज दिया है। मामले में जानकार बताते है कि संपत्ति में विवाद बटवारे का ही है। दोनों ही पक्ष अपना अपना हिस्सा बेचा करते है। पीड़ित महिला के द्वारा भी कुछ लोगो को सपत्ति सट्टा करने की बात क्षेत्र में चर्चा का विषय है।

बहरहाल, मौके पर निर्माण कार्य रुक गया है। दोनों पक्षों को शांति व्यवस्था बनाये रखने के लिए जैतपुरा पुलिस ने सख्त हिदायत दे रखा है। दोनों ही पक्षों को अपना कागज़ात लेखपाल को दिखाने को कहा गया है। मौके पर समाचार लिखे जाने तक निर्माण कार्य रुका हुआ है। वही सियासी कशमकश भी जारी है।

क्या कहना है अब्दुल्लाह का

प्रकरण में हमने अब्दुल्लाह से बात करने का प्रयास किया परन्तु फोन न मिलने के कारण बात नही हो सकी है। वही सपा नेता अब्दुल्लाह के समर्थको का कहना है कि उक्त विवाद में अब्दुल्लाह का कोई लेना देना नही है। केवल सियासत के तहत उनको बदनाम करने की साजिश कुछ लोग रच रहे है। ज़मीन बेचने वाला, खरीदने वाला, विवाद करने वाला सभी एक दुसरे को भली भाति जानते है। उसमे अब्दुल्लाह अथवा उनके परिवार अथवा उनका परिचित कोई नहीं है। वैसे क्षेत्र का होने के कारण सभी को सभी जानते और पहचानते है और सभी से सबकी बातचीत अच्छी है।

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